दिल या हृदय मजबूत करने के उपाय

by Darshana Bhawsar
heart

आज के समय में हम देख सकते हैं कि किस प्रकार की जीवनशैली लोग फॉलो कर रहे हैं। ये जीवनशैली ऐसी है जिसमें लोगों के पास समय की बहुत कमी हैं। लोगों को भोजन करने का भी समय नहीं है। अगर लोगों के भोजन करने का समय नहीं तो सोचिये कि उनकी दिनचर्या कैसी होगी। जीवन में भोजन, सांस लेना एवं पानी पीना बहुत ही जरुरी है। अगर जीवन में ये सब चीज़ें नहीं है तो जीवन है ही नहीं। असंतुलित भोजन कई बिमारियों की वजह है, वैसे ही अशुद्ध वायु एवं जल भी कई बीमारियों की वजह है। अब इनसे अलग थोड़ी बात की जाये तो लोग मोटे हो रहे हैं साथ ही उनके पास व्यायाम करने का समय नहीं है। और इस वजह से वे अपना वजन कम नहीं कर पा रहे और परिणाम आप देख सकते हैं कई बड़ी बीमारियाँ।

इसे भी पढ़ें:कोरोना वायरस से बचने का तरीका

इन्हीं बिमारियों में से एक बड़ी बीमारी है हृदय रोग। हृदय रोग होने के वैसे तो कई कारण होते हैं लेकिन मोटापा हृदय रोगों का बहुत बड़ा कारण है। मोटे व्यक्ति अधिकतर उच्च रक्चाप के शिकार होते हैं साथ ही मोटे लोग के हृदय में ब्लॉकेज होने की सम्भावना भी बहुत अधिक होती है। इसलिए मोटापा नियंत्रण करना बहुत ही जरुरी है। हृदय रोग जैसी बिमारियों का कारण आज के समय का भोजन भी है, हवा और वातावरण भी है। हृदय रोग अधिकतर जानलेवा होते हैं और इनका इलाज कभी तो संभव है एवं कभी असंभव। यह इलाज हृदय रोगों पर निर्भर करता है साथ में हृदय रोग कितना पुराना है और हृदय कि स्थिति पर भी निर्भर करता है। इसलिए हृदय से सम्बंधित बिमारियों को पहले समझा जाता है इसके बाद इनका किस प्रकार से उपचार किया जाये उसके बारे में जानकारी बटोरी जाती है।

heart

आज हम यहाँ बात करने वाले हैं दिल या हृदय को मजबूत करने के उपाय के बारे में। हृदय रोग दिल या हृदय के कमजोर होने के कारण होता है। अगर हृदय या दिल मजबूत है तो हृदय रोगों को रोका जाना संभव है। हृदय कमजोर होने का मतलब ये तो है ही कि हृदय ठीक तरह से कार्य नहीं कर रहा साथ ही हृदय या दिल कमजोर होने से तातपर्य है कि व्यक्ति कितना भावुक है।

इसे भी पढ़े: गर्भावस्था के दौरान होने वाले डिप्रेशन के प्रभाव

  • भावुकता से हृदय का सम्बन्ध:

जब बात आती है दिल कमजोर होने की तो कही न कही भावुकता भी मायने रखती है। जब व्यक्ति बहुत अधिक भावुक होता है तो उसका दिल भी प्रभावित होता है। जब व्यक्ति को छोटी-छोटी बात से फर्क पड़ता है और वह रोने लगता है तो उस स्थिति में व्यक्ति की भावुकता का पता लगता है। ऐसा तब ही होता है जब व्यक्ति का दिल बहुत ही कमजोर हो। कभी-कभी लोग दिल से सोचते हैं और उन्हें किसी भी बात का बुरा लग जाता है और ऐसे भावुक लोगों को तनाव और हृदय रोग जैसी बीमारियाँ बहुत जल्दी होती हैं। वैसे तो कारण और भी कई हैं। लेकिन हृदय या दिल का भावुकता से सीधा सम्बन्ध होता है।

  • दिल या हृदय मजबूत करने के उपाय:

दिल या हृदय मजबूत करने के कई उपाय हैं एवं ये उपाय बहुत ही आसान हैं। अगर आप इन बताये गए उपाय पर अमल करेंगे तो आप भी अपने हृदय को मजबूत कर पाएंगे और कई बिमारियों से स्वयं को बचा पाएंगे। यहाँ कुछ चीज़ों से आपको परहेज करना होगा और कुछ चीज़ों को अपनाना होगा।

  • धूम्रपान से दूर रहें:

धूम्रपान सेहत के लिए बहुत ही हानिकारक होता है। धूम्रपान करने से फेफड़े ख़राब होते हैं और हृदय सम्बंधित कई समस्याएँ पैदा होती हैं।जब कोई व्यक्ति धूम्रपान करता है तो उसके शरीर में ऑक्सीजन की मात्रा कम होने लगती है और जो रक्त वाहिकाएं होती हैं वे सिकुड़ जाती हैं। इसलिए धूम्रपान को हृदय सम्बंधित बिमारियों का कारण माना जाता है और सलाह दी जाती है कि व्यक्ति इनसे दूर रहे।

  • मोटापा कम करें:

मोटापा कई बिमारियों का कारण होता है। और हृदय रोगों का भी एक बड़ा कारण मोटापा ही है इसलिए मोटापे से दूर रहने के लिए आपको व्यायाम जैसी गतिविधियाँ अपनाना चाहिए। मोटापा कम करने का प्रयास करें। अगर मोटापा नियंत्रित कर लेते हैं तो आपको कई बिमारियों से छुटकारा मिल जायेगा।

heart
  • सेचुरेटेड फैट कम करना:

फैट कैसा भी हो हानिकारक होता है। जब व्यक्ति अधिक मात्रा में नियमित खाना खाता है उसके कारण जो फैट या मोटापा बढ़ता है उसे सेचुरेटेड फैट कहा जाता है।  इसे कम करना बहुत आवश्यक होता है। आहार को नियंत्रित करके इस मोटापे को कम किया जा सकता है। सेचुरेटेड फैट हृदय रोगों का बहुत बड़ा कारण होता है।

इसे भी पढ़ें:जाने क्या है कोरोना वायरस और इसके लक्षण?

  • तनाव से दूर रहें:

दिल को मजबूत करने के लिए तनाव से दूरी बना लेना चाहिए और खुश रहने का प्रयास करना चाहिए। दिल को मजबूत बनाने का सबसे अच्छा उपाय है खुश रहना। खुश रहने से सेहत अच्छी रहेगी, तनाव अपने आप ही कम हो जायेगा और शरीर और दिमाग में सकारात्मक ऊर्जा प्रवाहित होगी।

  • योग या व्यायाम:

योग या व्यायाम तो नियमित करना ही चाहिए। योग एक कला है और इस कला के सकारात्मक प्रभाव से पूरी दुनिया अवगत है। हृदय रोग हो या मष्तिष्क रोग या कोई भी रोग योग के द्वारा इनसे निजात पाना मुमकिन है। देश विदेश हर जगह आजकल योग का महत्व है। हृदय या दिल को मजबूत बनाने में योग सहायक भूमिका निभाता है। योग को अपनाकर देखिये आप अपने जीवन में कई परिवर्तन महसूस कर पाएंगे।

हृदय को मजबूत बनाने के लिए ये कुछ आसान से उपाय है इन्हें अपनाकर आप हृदय रोगों से भी दूर रह सकते हैं और अपने दिल को भी मजबूत कर सकते हैं। हृदय को कमजोर बनाने के पीछे कई वजह होती हैं लेकिन अगर इन वजह को पहचान कर पहले ही इससे बचने का तरीका निकाल लिया जाये तो ऐसी परेशानियाँ आप तक पहुँच ही नहीं पाएंगी। हर कोई जनता है कि धूम्रपान, मोटापे और तनाव से हृदय रोग हो सकता है फिर भी व्यक्ति इन्हें नज़रअंदाज कर देता है। तो अगर आपको सच में स्वस्थ रहना है तो नज़रअंदाज करने वाला व्यवहार छोड़ दीजिये और अपनी सेहत को सबसे पहले महत्व दीजिये।